Mock Drill Top 10 Dos And Don’ts

Mock Drill Top 10 Dos And Don’ts
भारत में आज मॉक ड्रिल: 7 मई की नागरिक सुरक्षा अभ्यास के दौरान अपनाएं ये 10 जरूरी ‘करें’ और ‘ना करें’
नई दिल्ली (7 मई): पूरे भारत में आज नागरिक सुरक्षा के तहत एक व्यापक मॉक ड्रिल (Mock Drill) का आयोजन किया जा रहा है। यह अभ्यास युद्धकालीन या आपातकालीन स्थिति जैसे आतंकी हमले, हवाई हमले, प्राकृतिक आपदा या बड़े पैमाने पर नागरिक संकट से निपटने की तैयारियों को परखने के उद्देश्य से किया जा रहा है।
इस मॉक ड्रिल में कई तरह की व्यवस्थाएं की गई हैं जैसे कि सायरन बजना, ब्लैकआउट (बिजली कटौती), संचार नेटवर्क का सीमित उपयोग और सुरक्षा बलों की तैनाती। ऐसे में नागरिकों को भी अपनी जिम्मेदारी निभानी होगी ताकि इस अभ्यास को सफल बनाया जा सके। नीचे हम 7 मई को होने वाली इस ड्रिल के दौरान के 10 जरूरी ‘करें’ और ‘ना करें’ (Dos and Don’ts) की सूची साझा कर रहे हैं।
✅ क्या करें (Dos):
सायरन सुनते ही सतर्क हो जाएं:
पहला सायरन खतरे की सूचना देता है, इसलिए सायरन बजते ही सतर्क हो जाएं और अपने स्थान को सुरक्षित करें।ब्लैकआउट का पालन करें:
बिजली कटौती के दौरान इलेक्ट्रॉनिक उपकरण बंद रखें और अनावश्यक रोशनी न जलाएं।घर के अंदर रहें:
जब तक मॉक ड्रिल पूरी न हो जाए, घर या कार्यस्थल के अंदर ही रहें और खिड़कियों-दरवाज़ों को बंद रखें।आपातकालीन किट पास में रखें:
टॉर्च, बैटरी, प्राथमिक चिकित्सा किट और पानी जैसी आवश्यक चीजें अपने पास रखें।सरकारी दिशा-निर्देशों का पालन करें:
स्थानीय प्रशासन या नागरिक सुरक्षा विभाग द्वारा दी गई जानकारी को ध्यान से सुनें और उसी के अनुसार कार्य करें।
❌ क्या न करें (Don’ts):
घबराएं नहीं:
यह एक अभ्यास है, असली आपातकाल नहीं। अफवाह फैलाने या घबराने की कोई आवश्यकता नहीं है।सड़क पर भीड़ न लगाएं:
अभ्यास के दौरान सड़कों या सार्वजनिक स्थानों पर भीड़ इकट्ठा करने से बचें।अनावश्यक यात्रा से बचें:
अगर ज़रूरी न हो तो मॉक ड्रिल के समय बाहर निकलने से बचें, खासकर संवेदनशील इलाकों में।सामाजिक मीडिया पर गलत सूचना न फैलाएं:
कोई भी गैर-पुष्ट जानकारी सोशल मीडिया पर साझा न करें। इससे दहशत फैल सकती है।आपातकालीन सेवाओं को बाधित न करें:
पुलिस, एम्बुलेंस या अग्निशमन सेवा को मॉक ड्रिल के दौरान अनावश्यक कॉल न करें।
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नागरिक जिम्मेदारी का अवसर
यह मॉक ड्रिल नागरिकों के लिए एक मौका है कि वे यह समझें कि आपातकाल में उन्हें कैसे प्रतिक्रिया देनी चाहिए। यह एक अभ्यास है, लेकिन इसका असर वास्तविक आपातकाल की स्थिति में जीवन बचा सकता है।
सरकार और नागरिक सुरक्षा एजेंसियों का यह प्रयास है कि देश की जनता हर स्थिति के लिए तैयार हो। सभी को इस ड्रिल में भाग लेना चाहिए और इसे गंभीरता से अपनाना चाहिए।
घबराएं नहीं। बच्चों को अवश्य जागरूक करें।
हवाई हमले से बचाव की चेकलिस्ट मोबाइल में सेव करके रखें।
1. अलर्ट और सतर्कता
* एयर रैड सायरन की आवाज़ पहचानें
* मोबाइल या रेडियो पर सरकारी अलर्ट सुनें
* अफवाहों पर विश्वास न करें, केवल आधिकारिक सूचना पर ध्यान दें।
2. सुरक्षित स्थान (शरणस्थल)
* निकटतम बंकर या शरणस्थल की जानकारी रखें
* अपने घर में मजबूत, बिना खिड़की वाला कमरा तैयार रखें
* शरणस्थल तक जल्दी पहुँचने का रास्ता पहले से तय करें
3. जरूरी वस्तुएँ तैयार रखें
* पीने का पानी (कम से कम 3 दिन का)
* सूखा भोजन (बिस्किट, ड्राई फ्रूट्स आदि)
* प्राथमिक चिकित्सा किट
* टॉर्च और एक्स्ट्रा सेल
* पोर्टेबल रेडियो
* जरूरी दस्तावेज़ (ID, मेडिकल रिपोर्ट, बैंक डिटेल्स)
* मोबाइल चार्जर / पावर बैंक
4. अंधेरा और सुरक्षा
* रात में सभी लाइटें बंद रखें (ब्लैकआउट)
* खिड़कियों पर मोटे पर्दे, काले कागज़ या ब्लाइंड लगाएँ
* शीशे से दूर रहें, ज़मीन पर लेट जाएँ
5. अभ्यास और तैयारी
* परिवार के साथ हवाई हमले की ड्रिल करें
* बच्चों को सुरक्षित स्थान और प्रक्रिया सिखाएँ
* पड़ोसियों के साथ आपसी सहयोग सुनिश्चित करें
6. हमले के बाद क्या करें
* बाहर तभी निकलें जब सरकारी निर्देश मिले
* घायल हों तो प्राथमिक उपचार करें
* संदिग्ध वस्तु या बम दिखे तो छुए नहीं — पुलिस को सूचित करें।